गैंगस्टर एक्ट के तहत कार्रवाई करते समय उसके प्रावधानों व हाईकोर्ट की ओर से जारी गाइडलाइन का सतर्कता से पालन न करने पर सरकार ने डीएम अमरोहा को पद से हटा दिया है। उनको सचिवालय से संबद्ध कर दिया गया है। शासकीय अधिवक्ता ने गैंगस्टर कार्रवाई के खिलाफ दाखिल आसिफ, नस, चाहत की याचिका पर सुनवाई के दौरान न्यायमूर्ति विवेक कुमार बिरला और न्यायमूर्ति अरुण कुमार सिंह देशवाल की खंडपीठ को दी। अमरोहा के डिडौली थाना क्षेत्र का है। पुलिस ने तीनों याचियों के खिलाफ में गैंगस्टर एक्ट के तहत प्राथमिकी दर्ज की थी। इसके खिलाफ याचियों ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। दलील दी थी कि डीएम ने कार्रवाई करते वक्त न एक्ट का पालन लिया और न ही हाईकोर्ट की ओर से सनी मिश्रा के मामले में देते गए दिशा-निर्देशों का। लिहाजा, याचियों के खिलाफ की गई कार्रवाई अवैधानिक है।सरकारी अधिवक्ता द्वारा कोर्ट को सूचित करने पर कि संबंधित अधिकारी का स्थानांतरण कर दिया गया है, कोर्ट ने अधिकारियों के खिलाफ कोई और आदेश पारित करना उचित नहीं समझा और उचित कार्रवाई करने की जिम्मेदारी सरकार पर छोड़ दी। उक्त आदेश न्यायमूर्ति विवेक कुमार बिड़ला और न्यायमूर्ति अरुण कुमार सिंह देशवाल की खंडपीठ ने आसिफ के खिलाफ अधिनियम, 1986 की धारा 3 (1) के तहत दर्ज प्राथमिकी को रद्द करने का अनुरोध करने वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए पारित किया।