Headlines

प्रधानाचार्य परिषद ने मुख्य सचिव माध्यमिक शिक्षा को सौंपा ज्ञापन

लखनऊ/फर्रुखाबाद, समृद्धि न्यूज। प्रधानाचार्य परिषद ने मुख्य सचिव माध्यिक शिक्षा से लखनऊ में मुलाकात कर 13 सूत्रीयें ज्ञापन सौंपा। प्रदेश अध्यक्ष राजेन्द्र कुमार अग्निहोत्री, प्रदेश महामंत्री डा0 संदीप कुमार चतुर्वेदी व प्रदेश कोषाध्यक्ष अखिलेश् कुमार त्रिपाठी एवं डा0 मनोज कुमार सहित प्रधानाचार्यों ने मुख्य सचिव माध्यमिक शिक्षा को ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में दर्शाया कि समस्त तदर्थ प्रधानाचार्य जो प्रधानाचार्य पद का वेतन पा रहे है, सभी आवश्यक योग्यतायें पूर्ण कर रहे है। उनका विनियमितीकरण किया जाये। निदेशक की अध्यक्षता में बनी कमेटी द्वारा फीस वृद्धि हेतु सर्वसम्मति से शासन को दिये गये प्रस्ताव के आधार पर माध्यमिक विद्यालयों में शीघ्र शुल्क संसोधन शासनादेश जारी किया जाये। चयन बोर्ड की धारा 21, 18 व 12 को नवगठित शिक्षा चयन आयोग में सम्मलित कराया जाना महत्वपूर्ण है। आयोग ने इसे प्रावधानिक किया जाये। शासन द्वारा ग्रीष्मकालीन में समर कैम्प रविवार व अवकाश के दिन विद्यालयों को खोले जाने की स्थिति में उसके बदले प्रधानाचार्यों को अर्जित अवकाश दिया जाये। चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों एवं लिपिकों की नियुक्ति पूर्व की भांति प्रधानाचार्यों को नियुक्ति का अधिकार दिया जाये। स्ववित्त पोषित विद्यालयों में कार्यरत प्रधानाचार्यों की सेवा नियमावली के लिए इंटर मीडिएट की धारा 160 के अध्याय 3 के विनियमों का क्रियांवन करते हुए उनकी नियुक्ति अनमोदन एक समान किया जाये। सरकारी कर्मचारी की भांति प्रधानाचार्यांे को भी नि:शुल्क चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करायी जाये। माध्यमिक विद्यालयों के विद्युत बिल किसानों की भांति माफ किये जाये और कॉमर्शिलय बिल के स्थान पर सामान्य यूनिट दर निर्धारित की जाये। विद्यालयों के प्रधानाचार्यांे को अन्य शैक्षिक समवर्गांे की भांति त्रिस्तरीय वेतन स्वीकृत किया जाये। कक्षा ८ तक के विद्यार्थियों की गृह परीक्षा, वार्षिक परीक्षा प्रगति पत्र आदि की व्यवस्था की जाये। अभिलेखों के रखरखाव, व्यवहार के लिए प्रधानाचार्यों को उत्तरदायी बनाते हुए उन्हें विद्यालय प्रबंधन समिति में पदेन सचिव का स्थान दिया जाये। हाईस्कूल संस्था प्रधान को प्रधानाध्यापक पद नाम की जगह प्रधानाचार्य पद नाम प्रदान किया जाये। केंद्र द्वारा कर्मचारियों की अधिवर्षता आयु 60 वर्ष बढ़ाकर 62 वर्ष की गई है। राज्य सरकार के आधीन शिक्षक एवं प्रधानाचार्य की भी अधिवर्षता आयु 62 बढ़ाकर 64 वर्ष की जाये, आदि मांगों का ज्ञापन सौंपा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *