Headlines

भारत कोई धर्मशाला नहीं है, सुप्रीम कोर्ट ने श्रीलंकाई तमिल शरणार्थी की याचिका खारिज की

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को एक श्रीलंकाई नागरिक द्वारा दायर उस याचिका पर सुनवाई करने से इनकार कर दिया। जिसमें उसने अपनी सजा पूरी होने के बाद देश से निर्वासन को चुनौती दी थी। अदालत ने स्पष्ट किया कि भारत कोई धर्मशाला नहीं है, जहां दुनिया भर के शरणार्थियों को शरण दी जा सके।
सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को एक शरण याचिका को यह कहते हुए खारिज कर दिया भारत कोई धर्मशाला नहीं है। एक श्रीलंकाई नागरिक ने भारत में शरण के लिए शीर्ष अदालत का दरवाजा खटखटाया था।् उसके वकील का कहना है कि श्रीलंकाई में उसकी जान को खतरा है। श्रीलंकाई नागरिक वीजा पर भारत आया था, वह गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम के तहत तीन साल से जेल में है। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस दीपांकर दत्ता और जज के विनोद चंद्रन की पीठ ने श्रीलंकाई नागरिक की याचिका पर सुनवाई की ह। पीठ ने इस दौरान कहा कि भारत कोई धर्मशाला नहीं है,जहां दुनिया भर से शरणार्थियों को रखा जा सके, श्रीलंकाई नागरिक को 2015 में लिबरेशन टाइगर्स ऑफ तमिल ईलम से जुड़े होने के संदेह में गिरफ्तार किया गया था, एलटीटीई एक समय श्रीलंका में सक्रिय एक आतंकवादी संगठन था।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *