चित्र, मित्र और चरित्र से जीवन पवित्र बनता: आचार्य चन्द्रदेव

फर्रुखाबाद, समृद्धि न्यूज। आर्य प्रतिनिधि सभा के तत्वावधान में मेला श्रीराम नगरिया में चल रहे वैदिक क्षेत्र में चरित्र निर्माण शिविर में प्रात:काल यज्ञ किया गया। आचार्य चन्द्रदेव शास्त्री ने कहा प्रयागराज कुम्भ मेले में हुई भगदड़ में जिन लोगों ने अपनों को खोया है उनके परिजनों के प्रति वैदिक क्षेत्र की ओर से शोक संवेदना प्रकट करते हैं और ईश्वर से प्रार्थना करते हैं कि दिवंगत हुई आत्माओं को सद्गति प्राप्त हो। मध्यान्ह की सभा में आचार्य ने बताया कि चित्र, मित्र और चरित्र से जीवन पवित्र बनता है। जिनके घरों में श्रेष्ठ आदर्श महापुरुषों के चित्र हों, जिसके मित्र श्रेष्ठ स्वभाव वाले हों और जिसका चरित्र महान हो उसका जीवन निश्चित रूपेण पवित्र बनता है। हमारे घरों में सुन्दर और श्रेष्ठ चित्र होने आवश्यक हैं, क्योंकि चित्र को देखकर भी हमारा चरित्र बनता है। हमारे मित्र भी अच्छे हों, शास्त्रों में कहा गया है कि जो मित्र को पापों से बचाने वाला हो वो सच्चा मित्र है। चरित्र के बारे में विचारकों का कथन है कि धन गया तो कुछ नहीं गया, स्वास्थ्य गया तो कुछ गया और जिसका चरित्र गया तो उसका सब कुछ चला गया। इसलिए प्रत्येक मनुष्य को चरित्र की यत्न पूर्वक रक्षा करनी चाहिए। आचार्य प्रदीप शास्त्री, पण्डित धनीराम बेधडक़, पण्डित शिवनारायण आर्य आदि ने भी अपने उपदेशों से समाज उत्थान की चर्चा की। सभा में उत्कर्ष आर्य, उदयराज आर्य, संदीप आर्य, हरिओम शास्त्री, शिशुपाल आर्य, अजीत आर्य आदि उपस्थित रहे।

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