वाह-रे सिस्टम: मरम्मत पुल पर रोकी लाश वाली एंबुलेंस, गुजार दी विधायक की गाड़ी

समृद्धि न्यूज। उत्तर प्रदेश के हमीरपुर जिले से शर्मनाक खबर सामने आई है। मरम्मत के चलते शनिवार को सुबह 6:10 बजे वाहनों के लिए यमुना पुल बंद कर दिया गया। पुल बंद होने के 34 मिनट बाद सुबह करीब 6:44 बजे भाजपा विधायक की कार तो गुजर गई, लेकिन मजदूर की मां का शव लेकर सुबह 9:30 बजे आई एंबुलेंस को नहीं जाने दिया। यहां के यमुना पुल के मरम्मत का कार्य किया जा रहा है। जिसके चलते शनिवार और रविवार को सुबह छह बजे से सभी तरह के वाहनों को पुल से आनेजाने नहीं दिया जा रहा है। लोग इस पुल से पैदल ही आवागमन कर रहे हैं। इस बीच सुमेरपुर क्षेत्र के टेढ़ा गांव की रहने वाली शिवदेवी का अस्पताल में इलाज के दौरान निधन हो गया। उनका शव एंबुलेंस से गांव आ रहा था, जब शव वाहन यमुना पुल पहुंचा तो रोक दिया गया। बताया गया कि पुल से वाहन नहीं जा सकता है। शिवदेवी के बेटे अधिकारियों के सामने गिड़गिड़ाते रहे कि शव वाहन को जाने दिया जाए, लेकिन किसी ने नहीं सुनी। आखिर में थक हारकर बेटों ने मां के शव को एंबुलेंस से नीचे उतारा और स्ट्रेचर पर शव को रखा। भला हो उस एंबुलेंस वाले का जिसने स्ट्रेचर ले जाने दिया, नहीं तो बेटे अपनी मां के शव को घर तक कैसे ले जाते। इसके बाद बेटे मां के शव को स्ट्रेचर पर रखकर पैदल ही पुल पार करते हुए चल दिए। करीब एक किलोमीटर तक बेटे अपनी मां के शव को स्ट्रेचर पर रखकर चलते रहे। इस दौरान चार जगहों पर उन्होंने शव को रखा। जिसने भी ये नजारा देखा तो सिस्टम को कोसता रहा। मृतक महिला के पुत्र बिंदा ने बताया कि मां का पैर फै्रक्चर हो गया था। इलाज के लिए कानपुर ले गए थे। जहां उनकी आज मौत हो गई थी। बताया कि शव वाहन में मां की अर्थी रखकर पुल से निकलने के लिए गिड़गिड़ाए, लेकिन किसी का दिल नहीं पसीजा। पुल पार करने के बाद मां के शव को ऑटो में रखकर बेटे अपने गांव चले गए।
इसी तरह 21 जून को भी प्रमुख सचिव का काफिला पुल बंद होने के बाद निकाला गया था।
विधायक का कहना है कि वह कार में नहीं थे। उनके बीमार भाई को लेकर पिता कार कानपुर गए हैं। बता दें कि कानपुर-सागर हाईवे पर स्थित यमुना पुल को मरम्मत के लिए शनिवार सुबह छह बजे से वाहनों के आवागमन के लिए बंद कर दिया गया। पैदल आने-जाने वालों पर रोक नहीं थी। सुबह 6:44 बजे सदर विधायक की कार पार कराने के लिए बैरिकेडिंग हटा दी गई। इसी बीच सुबह 9:30 बजे सुमेरपुर क्षेत्र के टेढ़ा गांव निवासी बिंदा कानपुर से निजी एंबुलेंस से मां शिव देवी का शव लेकर पुल के पास पहुंचे। पुल पर तैनात सुरक्षा कर्मियों ने एंबुलेंस को नहीं जाने दिया। मजबूर होकर एंबुलेंस में रखे स्ट्रेचर पर मां का शव लेकर पुल पार किया। इसके बाद वह शव को ऑटो से लेकर घर गए। पीएनसी प्रोजेक्ट मैनेजर एमपी वर्मा ने बताया कि सदर विधायक की कार पुल बंद होने से कुछ देर पहले ही निकली थी।

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